आंदोलनरत 20 आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं की सेवाएं हुई समाप्त

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काफी संख्या में आंदोलनरत आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं व सहायिकाओं को नोटिस

शांतिपूर्ण आंदोलन को दबाने का प्रयास : कांग्रेस 

देवभूमि मीडिया ब्यूरो 

कांग्रेस नेताओं ने आंगनबाडी कार्यकर्ताओं के आंदोलन को दिया समर्थन

एक तरफ मानदेय वृद्धि समेत अन्य मांगों को लेकर आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं का बेमियादी अनशन जारी है। वहीं दूसरी तरफ धरना स्थल पर कांग्रेस नेताओं ने पहुंच कर आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं को अपना समर्थन दिया है।

परेड ग्राउंड स्थित धरना स्थल पर चंबा से बागेश्वरी उनियाल और विकासनगर से पिंकी सिंह बेमियादी अनशन पर बैठी।

वहीं कांग्रेस के पूर्व विधायक राजकुमार और कांग्रेस के वरिष्ठ नेता मनीष खंडूड़ी ने धरना स्थल पर पहुंच कर आंदोलन को समर्थन दिया।

कांग्रेसी नेताओं ने कहा कि सरकार आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं के साथ अन्याय कर रही है। उनके शांतिपूर्ण आंदोलन को दबाने का प्रयास किया जा रहा है।

देहरादून । पिछले डेढ़ माह से मानदेय में बढ़ोतरी समेत विभिन्न मांगों को लेकर आंदोलनरत आंगनबाड़ी कार्यकर्ता व सहायिकाओं के आंदोलन पर प्रदेश शासन ने सख्त रुख अपनाया है।  इसी कड़ी में  राज्यभर में अब तक 20 आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं की सेवाएं समाप्त की गई हैं। इसके साथ ही काफी संख्या में आंदोलनरत आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं व सहायिकाओं को नोटिस दिए गए हैं।

आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं व सहायिकाओं के आंदोलन के कारण प्रदेश के विभिन्न जिलों में आंगनबाड़ी केंद्र बंद पड़े हैं। इसके चलते महिला एवं बाल विकास के मद्देनजर संचालित विभिन्न कार्यक्रम ठप हैं। आंगनबाड़ी केंद्रों में न तो नौनिहालों व धात्री महिलाओं को पुष्टाहार मिल पा रहा और न अन्य योजनाएं आगे बढ़ पा रहीं। इस पर शासन ने सख्त रुख अपनाते हुए तीन दिन पहले सभी जिलों को आंगनबाड़ी कार्यकर्ता और सहायिकाओं के आंदोलन के मद्देनजर नियमानुसार कार्रवाई के निर्देश दिए थे।

अब जिलों में कारवाई शुरू हो गई है। अपर सचिव महिला सशक्तीकरण एवं बाल विकास झरना कमठान के मुताबिक आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं के नियुक्ति प्राधिकारी जिलों में जिला कार्यक्रम अधिकारी (डीपीओ) होते हैं। जिलों में डीएम के अनुमोदन के बाद डीपीओ ही कार्रवाई कर रहे हैं। उन्होंने बताया कि अभी तक चमोली, रुद्रप्रयाग, उत्तरकाशी, पौड़ी समेत अन्य जिलों में करीब 20 आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं की सेवाएं समाप्त किए जाने की सूचना है। इसके अलावा काफी संख्या में आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं को नोटिस भी जिलों में दिए गए हैं।