मंत्रिमंडल विस्तार की चर्चाओं ने एक बार फिर पकड़ा जोर !

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मंत्री पद की चाह रखने वाले विधायकों को नजर आने लगी उम्मीद की किरण

देवभूमि मीडिया ब्यूरो 

देहरादून : भाजपा के राष्ट्रीय कार्यकारी अध्यक्ष जेपी नड्डा के प्रदेश दौरे के बाद और मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत के कार्यों पर मुहर लगाए जाने के बाद एक बार फिर सूबे में मंत्रिमंडल के विस्तार को लेकर कयासबाजियां शुरू हो गई हैं।

गौरतलब हो कि भाजपा के राष्ट्रीय कार्यकारी अध्यक्ष जेपी नड्डा द्वारा सरकार के कामकाज की समीक्षा के बाद और श्री नड्डा के सामने एक बार फिर मंत्री पद की इच्छा रखने वाले  नेताओं द्वारा सरकार में खाली पड़े मंत्रिपद भरने की बात उठाए जाने के बाद प्रदेश सरकार इस दिशा में कदम आगे बढ़ाने जा रही है। श्री नड्डा का भी मानना है कि मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत पर काम का ज्यादा बोझ है। लिहाज़ा इसी बोझ को हल्का करने के लिए मंत्रिमंडल विस्तार का यह कदम उठाया जा सकता है।

उल्लेखनीय है कि प्रदेश कैबिनेट में वर्तमान में मंत्रियों के तीन पद रिक्त चल रहे हैं। इनमें एक पद पूर्व वित्त मंत्री प्रकाश पंत के निधन के बाद रिक्त हुआ है, जबकि दो मंत्री पद पहले से ही रिक्त चल रहे थे। प्रकाश पंत के पास वित्त, आबकारी, पेयजल व संसदीय कार्य जैसे अहम विभाग थे। उनके निधन के बाद से ही उनके विभाग मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत देख रहे हैं। राज्य में मंत्रिमंडल विस्तार की चर्चाएं तो बीते कई महीनों से चल रही हैं लेकिन जितनी तेजी से ये चर्चाएं उठीं उतनी तेजी से गायब भी होती गई। अब एक बार फिर मंत्रिमंडल विस्तार की चर्चाओं ने जोर पकड़ लिया है।

इस बार इन चर्चाओं को बल भाजपा के राष्ट्रीय कार्यकारी अध्यक्ष जेपी नड्डा के दौरे ने दिया है। पिछले दिनों देहरादून दौरे पर आए जेपी नड्डा ने पार्टी पदाधिकारियों से सरकार के कामकाज की समीक्षा भी की थी। इसके बाद से ही मंत्रिमंडल विस्तार की चर्चाओं ने जोर पकड़ा।

बैठक में यह विषय भी आया कि मुख्यमंत्री के पास कई विभागों को बोझ है। इस कारण उनकी व्यस्तता काफी अधिक बढ़ गई है। बैठक के बाद इस तरह की चर्चाओं से एक बार फिर मंत्री पद की चाह रखने वाले विधायकों को उम्मीदें एक बार फिर हिलोरें मारने लगी है। इस सूची में वर्तमान में वे पांच विधायक हैं जो पूर्व में मंत्री रह चुके हैं। इसके अलावा 20 से अधिक ऐसे विधायक हैं जो दो बार से अधिक विधायक रह चुके हैं। जो मंत्रिमंडल में स्थान पाने वालों की उम्मीद पाले हुए हैं।