CM ने किया SP तृप्ति भट्ट की “ख्वाबों के खत“ कविता संकलन का विमोचन

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  • “ख्वाबों के खत“ नामक कविता संकलन का विमोचन

देहरादून : एक पुलिस अधिकारी के रूप में अपने व्यस्त दिनचर्या के बीच तृप्ति भट्ट लेखन और कला के लिए समय निकालती हैं। यह प्रदर्शित करता है कि अधिकारी एक संवेदनशील अधिकारी है। उन्होंने सुश्री तृप्ति भट्ट की सराहना करते हुए कहा कि लेखन सदैव ही मानवीय संवेदनाओं को स्पर्श करता है और एक पुलिस अधिकारी के रूप में लेखन करना अपने आप में मुश्किल काम है क्योंकि उनके ऊपर इतनी जिम्मेदारियां होती हैं कि यदि वे इस समय में से भी लेखन के लिए समय निकालती है तो समझिये उनके भीतर एक अच्छा और संवेदनशील इंसान है जो उन्हें लेखन के लिए प्रेरित करता है। मुख्यमंत्री ने अपने संबोधन में पूर्व प्रधानमंत्री श्री अटल बिहारी वाजपेई द्वारा पुस्तक विमोचन के कुछ संस्मरणों को भी सुनाया।

यह बात मुख्यमंत्री त्रिवेन्द्र सिंह रावत ने रविवार को मुख्यमंत्री आवास स्थित जनता मिलन हॉल में आयोजित एक कार्यक्रम में सुश्री तृप्ति भट्ट द्वारा रचित “ख्वाबों के खत“ नामक कविता संकलन का विमोचन करते हुए कही। इस अवसर पर प्रख्यात कवि डॉ.हरिओम पंवार, प्रख्यात अदाकारा और कलाकार श्रीमती शबाना आजमी, कवि असीम शुक्ल और प्रदेश के पुलिस महानिदेशक अनिल कुमार रतूड़ी उपस्थित थे। ज्ञातव्य हो कि सुश्री तृप्ति भट्ट एक आईपीएस अधिकारी हैं और वर्तमान में चमोली जनपद की पुलिस अधीक्षक हैं।

इस अवसर पर प्रख्यात कवि डॉ.हरिओम पंवार ने कहा कि यदि पुलिस अधिकारी एक कवि है तो उसके हाथों कभी अन्याय नहीं हो सकता और ऐसा अधिकारी कभी किसी दुर्बल को नहीं सताएगा। श्रीमती शबाना आजमी ने कार्यक्रम को संबोधित करते हुए सुश्री भट्ट के कविता लेखन की सराहना की और जिस प्रकार से कविता संकलन में विभिन्न विषयों को स्पर्श किया गया है उसकी प्रशंसा भी की।

कार्यक्रम को संबोधित करते हुए पुलिस महानिदेशक अनिल रतूड़ी ने कहा कि पुलिस अधिकारियों को उनके कार्य क्षेत्र की एकरसता से बचाने और अपनी आत्मा पर से धूल झाड़ने के लिए कला से बेहतर कोई मौका नहीं मिलता। उन्होंने एसपी सुश्री तृप्ति भट्ट की प्रशंसा की थी। उन्होंने अपने कैरियर के बहुत प्रारंभिक चरण में ही अपने कार्य के साथ-साथ लेखन के क्षेत्र को भी चुना है। कार्यक्रम में लेखिका के माता पिता भी उपस्थित थे।